ग्वालियर: अपहरण के 2 फरार बदमाशों को मुठभेड़ में गिरफ्तार, पूरी कहानी जानें!
ग्वालियर के शक्कर कारोबारी राहुल गुप्ता के बेटे शिवाय का अपहरण करने वाले दो फरार बदमाशों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। मुठभेड़ में दोनों बदमाशों के पैर में गोली लगी। यह मामला कई दिनों से सुर्खियों में था। जानें पूरी खबर।
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मध्य प्रदेश: ग्वालियर में शक्कर कारोबारी राहुल गुप्ता के बेटे शिवाय गुप्ता के अपहरण का मामला अब एक और महत्वपूर्ण मोड़ पर आ गया है। पुलिस ने दो फरार बदमाशों, भूरा और मोनू गुर्जर को गिरफ्तार कर लिया है। ये दोनों बदमाश ग्वालियर के भयपुरा गांव में किसी और वारदात को अंजाम देने के लिए योजना बना रहे थे, तभी पुलिस को इनकी सूचना मिली और पुलिस ने इनकी घेराबंदी कर उन्हें पकड़ लिया। इस दौरान बदमाशों ने पुलिस पर फायरिंग की और भागने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने जवाबी फायरिंग कर इन्हें दबोच लिया। इस मुठभेड़ में इन बदमाशों के पैरों में गोली लगी है, जिन्हें इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
13 फरवरी को हुआ था शिवाय का अपहरण
13 फरवरी को ग्वालियर के मुरार थाना क्षेत्र के सीपी कॉलोनी में रहने वाले शक्कर कारोबारी राहुल गुप्ता के 6 साल के बेटे शिवाय का दिनदहाड़े अपहरण कर लिया गया था। उस समय शिवाय अपनी मां आरती के साथ स्कूल बस पकड़ने के लिए घर से बाहर निकल रहा था। तभी बाइक पर आए बदमाशों ने आरती की आंखों में मिर्च पाउडर झोंक दिया और शिवाय को अपहृत कर फरार हो गए।
शिवाय के अपहरण के बाद ग्वालियर पुलिस और आईजी अरविंद सक्सेना ने तुरंत कार्रवाई शुरू की और 30 हजार रुपये का इनाम घोषित किया। इस घटना ने शहर को हिलाकर रख दिया था और हर कोई यह जानने को उत्सुक था कि पुलिस अपहरणकर्ताओं को पकड़ने में कब तक सफल होगी। पुलिस ने घटनास्थल से लेकर आसपास के इलाके में कड़ी निगरानी और तलाशी अभियान चलाया।
13 घंटे में शिवाय की बरामदगी
पुलिस की सक्रियता रंग लाई और महज 13 घंटे के अंदर पुलिस ने शिवाय गुप्ता को मुरैना जिले के माता बसैया थाना क्षेत्र के गांव काजी बसई से बरामद कर लिया। पुलिस ने अपहरणकर्ताओं की पहचान की और ग्वालियर, मुरैना तथा भिंड के इलाकों में छापेमारी करना शुरू किया। इस दौरान मुरैना पुलिस ने कुतवार रोड पर मुठभेड़ के दौरान राहुल गुर्जर और बंटी गुर्जर को गिरफ्तार कर लिया। ये दोनों बदमाश वारदात से पहले शिवाय के घर की रैकी कर चुके थे। इस मुठभेड़ में इन दोनों के भी पैरों में गोली लगी थी।
पुलिस ने की और बड़ी कार्रवाई
इसके बाद पुलिस को पुख्ता जानकारी मिली कि अपहरण में शामिल अन्य बदमाशों में भूरा और मोनू गुर्जर भी शामिल हैं। इन दोनों बदमाशों की भी पहचान की गई और पुलिस ने उन्हें ग्वालियर के भयपुरा गांव में गिरफ्तार किया। इस बार भी पुलिस ने इन बदमाशों को घेराबंदी कर दबोच लिया। इन बदमाशों ने भी पुलिस पर फायरिंग की और भागने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने तुरंत जवाबी कार्रवाई करते हुए इन्हें गिरफ्तार कर लिया। बदमाशों के पैर में गोली लगी है, जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
अपहरणकर्ताओं का खुलासा
पुलिस की पूछताछ में इन बदमाशों ने खुलासा किया कि वे ट्रांसपोर्ट व्यवसाय से जुड़े हुए थे और उन पर कर्जा था। लेकिन कारोबार में भारी घाटा होने के कारण वे कर्ज चुकाने के लिए शिवाय का अपहरण करने का कदम उठाने को मजबूर हो गए। उनका इरादा था कि वे शिवाय के पिता राहुल गुप्ता से एक करोड़ रुपये की फिरौती मांगेंगे। हालांकि, पुलिस की त्वरित कार्रवाई और सक्रियता के कारण उनका यह प्लान फेल हो गया और वे शिवाय को छोड़कर भागने को मजबूर हो गए।
कुल सात बदमाशों ने किया था अपहरण
ग्वालियर पुलिस के अनुसार शिवाय गुप्ता के अपहरण में कुल सात बदमाश शामिल थे। इनमें से अब तक पांच बदमाशों को गिरफ्तार किया जा चुका है, जबकि दो बदमाश अभी भी फरार हैं। पुलिस उनकी तलाश में जुटी हुई है और उम्मीद की जा रही है कि जल्द ही उन्हें भी गिरफ्तार कर लिया जाएगा।
पुलिस की सफलता और आगे की कार्रवाई
ग्वालियर के एसएसपी धर्मवीर सिंह ने कहा कि यह अपहरण की घटना पुलिस के लिए एक चुनौती थी, लेकिन उनकी टीम की मेहनत और लगन ने इस मामले को हल करने में मदद की। उन्होंने कहा कि बदमाशों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी और जो भी इसमें शामिल होगा, उसे सजा दिलवाने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी जाएगी। पुलिस अभी भी इस मामले में छानबीन कर रही है और अपहरण से जुड़े अन्य पहलुओं को उजागर करने की कोशिश कर रही है।
ग्वालियर पुलिस की सक्रियता और पूरी टीम की मेहनत ने इस मामले को समय रहते हल किया और अपहृत बच्चे शिवाय को सकुशल घर लौटाया। यह घटना पुलिस और प्रशासन की तत्परता का एक उदाहरण है।
परिणाम: पुलिस की तत्परता ने दी सफलता
ग्वालियर में शिवाय गुप्ता के अपहरण की घटना ने शहरवासियों को डरा दिया था, लेकिन पुलिस की कड़ी कार्रवाई और त्वरित प्रतिक्रिया ने इसे एक बड़ी सफलता में बदल दिया। इस मामले में अब तक पांच बदमाशों को गिरफ्तार किया जा चुका है और पुलिस बाकी फरार आरोपियों की तलाश में जुटी हुई है। यह घटना एक बार फिर साबित करती है कि अपराधियों के लिए पुलिस का पकड़ना बहुत मुश्किल हो सकता है, खासकर जब पुलिस पूरी तत्परता से काम करे।